बांदा
उत्तर प्रदेश के बांदा में गुरुवार को सपा प्रमुख अखिलेश यादव पहुंचे और उन्होंने चुनावी जनसभा को संबोधित किया. इस दौरान उन्होंने विपक्षी पार्टियों पर जमकर हमला बोला. अखिलेश ने कहा कि भीड़ बता रही है कि बुंदेलखंड से भाजपा का सूपड़ा साफ हो रहा है. 4 चरणों मे चुनाव हो चुका और भाजपा चारो खाने चित हो चुकी है. यह भी सुनने में आ रहा है कि आंसुओं की नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. वहीं दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने लखनऊ में कहा कि इस बार चुनाव पीढ़ियों को बचाने का है. एक तरफ संविधान को बचाने वाले हैं तो दूसरी तरफ संविधान के भक्षक हैं.
भाजपा ने किसानों की आय दोगुनी करने का वादा किया था आय तो दो गुनी नहीं कर पाए, लेकिन लागत के साथ डीजल कीटनाशक दवाइयों में GST लगाकर किसानों को परेशान कर दिया. इन्होंने खाद की बोरी से 10 किलो खाद चुरा लिया. यह वही भाजपाई हैं, जिन्होंने हमारे किसानों को नैनो यूरिया खरीदवा दिया. इनकी नैनो यूरिया ने किसानों की पैदावार को भी नहीं बढ़ाया. यही नहीं सुनने में आ रहा है कि बड़े-बड़े उद्योगपति भारत छोड़कर चले गए, वैसे नैनो यूरिया बनने वाले भारत छोड़कर जा रहे. आज के नौजवानों के सामने कोई रास्ता नौकरी का नहीं बचा, जब परीक्षा होती है तो पेपर लीक हो जाता है. इस सरकार में 10 से ज्यादा परीक्षाएं रद्द हुई है, इन्होंने पेपर इसलिए लीक कराया कहीं इन्हें नौकरी ना देना पड़े.
अखिलेश यादव ने कहा कि प्रदेश में बीजेपी ने 60 लाख नौजवानों के भविष्य को अंधकार में डाल दिया है. पूरे देश में एक करोड़ 80 लाख लोग नाराज हैं. अगर आप 80 लोकसभा सीट से इन्हें भाग दे देंगे तो 2 लाख से ज्यादा हर लोकसभा में भाजपा का वोट काम हो जाएगा. इस पार्टी ने फौज की नौकरी अधूरी कर दी. हर कोई जानता हैं कि फौज में गरीब किसान, मजदूर का बेटा जाता है. इसलिए इन लोगों ने अग्नि वीर योजना लागू की. अग्नि वीर वाला जवान अगर सीमा पर शहीद हो जाएंगा तो सरकार उसे सम्मान नहीं देगी. 4 जून को हमारी सरकार बनने के बाद अग्नि वीर योजना पक्की होगी.
इन्होंने क्लास 3 और 4 की नौकरियां को आउटसोर्सिंग कर दिया. जरूरत का सामान महंगा हो गया है. बीजेपी ने वैक्सीन में घोटाला किया, जिन्होंने बगैर चेकिंग के वैक्सीन लगवाई है उनकी जान को खतरा पैदा हो गया है. बीजेपी ने दावा किया था कि 2022 में सरकार बनते ही 15 दिनों में अन्ना पशुओं की समस्या का समाधान किया जाएगा. आजादी के बाद से बुंदेलखंड प्यासा है. अगर हर घर योजना में ईमानदारी से पैसा खर्च किया होता तो अब तक सबको पानी मिल जाता.